उत्तर प्रदेश के गौतम बुद्ध नगर जिले में यमुना एक्सप्रेसवे के पास एक अत्याधुनिक अंतरराष्ट्रीय फिल्म सिटी का निर्माण होने जा रहा है। इस महत्वाकांक्षी परियोजना का उद्देश्य भारत को वैश्विक फिल्म निर्माण के केंद्र के रूप में स्थापित करना है। इस परियोजना के विकास का जिम्मा प्रसिद्ध फिल्म निर्माता बोनी कपूर की कंपनी बेव्यू प्रोजेक्ट्स एलएलपी और भूटानी ग्रुप को सौंपा गया है। इन दोनों ने मिलकर इस परियोजना के लिए सबसे ऊंची बोली लगाई, जिससे उन्हें यह टेंडर प्राप्त हुआ।

साभार : Times Now Navbharat
परियोजना का विवरण:
यह फिल्म सिटी यमुना एक्सप्रेसवे औद्योगिक विकास प्राधिकरण (YEIDA) के सेक्टर 21 में लगभग 1,000 एकड़ भूमि पर विकसित की जाएगी। पहले चरण में 230 एकड़ भूमि पर निर्माण कार्य किया जाएगा, जिसमें अत्याधुनिक ध्वनि मंच (साउंड स्टेज) और एक समर्पित फिल्म विश्वविद्यालय शामिल होंगे। इस विश्वविद्यालय का उद्देश्य देशभर, विशेषकर उत्तर प्रदेश की प्रतिभाओं को प्रशिक्षित करना है, ताकि वे फिल्म निर्माण की बारीकियों को सीख सकें और उद्योग में अपना योगदान दे सकें।
बोली प्रक्रिया और चयन:
इस परियोजना के लिए कुल चार कंपनियों ने बोली लगाई थी, जिनमें सुपर कैसेट्स इंडस्ट्रीज प्राइवेट लिमिटेड (टी-सीरीज), सुपरसोनिक टेक्नोबिल्ड प्राइवेट लिमिटेड (जिसका समर्थन अभिनेता अक्षय कुमार और मैडॉक फिल्म्स ने किया), और 4 लायंस फिल्म्स प्राइवेट लिमिटेड (फिल्म निर्माता केसी बोकाडिया द्वारा समर्थित) शामिल थीं। बेव्यू प्रोजेक्ट्स एलएलपी और भूटानी ग्रुप ने 18% ग्रॉस रेवेन्यू शेयर के साथ सबसे ऊंची बोली लगाई, जिससे उन्हें यह परियोजना प्राप्त हुई।
परियोजना की समयसीमा:
बोनी कपूर ने जानकारी दी है कि फिल्म सिटी के पहले चरण का निर्माण कार्य तीन वर्षों में पूरा करने का लक्ष्य है। इस चरण के पूरा होने के बाद, यह फिल्म सिटी के विस्तार के लिए आधारशिला का काम करेगा। परियोजना का मास्टरप्लान यमुना प्राधिकरण को सौंपा जा चुका है, और मंजूरी मिलने के बाद निर्माण कार्य शीघ्र ही आरंभ होगा।

साभार : Prabhat Khabar
परियोजना का महत्व:
यह फिल्म सिटी न केवल भारतीय फिल्म उद्योग को बढ़ावा देगी, बल्कि वैश्विक फिल्म निर्माताओं को भी आकर्षित करेगी। यहां एक ही स्थान पर सभी आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएंगी, जिससे फिल्म निर्माण की प्रक्रिया सुगम और सुलभ होगी। इसके अलावा, दर्शकों के लिए भी विशेष व्यवस्था की जाएगी, जहां वे शूटिंग प्रक्रिया को देख सकेंगे और ब्रेक के दौरान निर्देशकों या अभिनेताओं के साथ बातचीत कर सकेंगे।
निष्कर्ष:
नोएडा में बनने वाली यह अंतरराष्ट्रीय फिल्म सिटी भारतीय सिनेमा के लिए एक मील का पत्थर साबित होगी। इससे न केवल स्थानीय प्रतिभाओं को प्रोत्साहन मिलेगा, बल्कि भारत की सांस्कृतिक धरोहर को वैश्विक मंच पर प्रदर्शित करने का अवसर भी मिलेगा। बोनी कपूर और भूटानी ग्रुप की यह पहल निश्चित रूप से भारतीय फिल्म उद्योग को नई ऊंचाइयों पर ले जाएगी।
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